Exclusive : छोटे अपराधों में बंद बाल बंदियों की होगी रिहाई, 67 बंदियों को छोड़ने की तैयारी
कोरोना वायरस के बढ़ते संक्रमण को देखते हुए छोटे-छोटे अपराधों में संप्रेक्षण गृहों में बंद बाल बंदियों को रिहा करने की तैयारी है। बरेली के संप्रेक्षण गृह के 67 बाल बंदियों को रिहाई का तोहफा मिलेगा। शासन ने प्रशासन से छोटे अपराधों में बंद बाल बंदियों की सूची तलब कर ली है। इसी सप्ताह शासन बाल बंदियों पर रिहाई पर फैसला सुनाएगा।
कोरोना के संक्रमण के देखते हुए प्रदेश सरकार ने अलग-अलग जेलों से 11 हजार कैदियों को रिहा कराने का फैसला किया था। कोरोना का संक्रमण लगातार बढ़ता जा रहा है। बाल संप्रेक्षण गृहों में क्षमता से कहीं अधिक किशोरों को रखा गया है। बड़ी संख्या में मामूली अपराधों में किशोर बाल सुधार में रह रहे हैं।
बाल संप्रेक्षणों में किशोरों की संख्या अधिक होने की वजह सोशल डिस्टेंसिंग बरकरार रखना भी मुश्किल हो रहा है। सरकार छोटे अपराधों में बंद अच्छे आचरण वाले बाल बंदियों की रिहाई पर फैसला करने जा रही है। बरेली के संप्रेक्षण गृह से मंडल के चारों जिलों के 67 बाल अपराधियों को रिहा किए जाने की तैयारी है। महिला कल्याण विभाग के निदेशक के आदेश पर डीपीओ ने चोरी, मारपीट, और जेब काटने जैसे मामूली अपराधों में बंद अच्छे आचरण वाले बाल बंदियों की सूची मुख्यालय भेज दी है।
क्षमता से तीन गुना अधिक हैं बाल बंदी
बरेली के संप्रेक्षण गृह की क्षमता 50 बाल बंदियों की है। जबकि यहां अलग-अलग जिलों के 150 बाल बंदियों को रखा गया है। बरेली मंडल के साथ कानपुर, गोरखपुर और जौनपुर के भी एक-एक बाल बंदी को यहां रखा गया है।
इन बाल बंदियों को रिहा करने की तैयारी
जिला | बाल बंदी |
बरेली | 35 |
पीलीभीत | 06 |
बदायूं | 19 |
शाहजहांपुर | 7 |
मुख्यालय ने संप्रेक्षण गृह में छोटे-छोटे अपराधों में बंद बाल बंदियों की सूची मांगी थी। बाल बंदियों की जिले वार सूची उनके रिकार्ड के साथ भेज दी गई है।